पर्यावरण किसे कहते हैं उदाहरण सहित

पर्यावरण किसे कहते हैं

पर्यावरण किसे कहते हैं उदाहरण सहित – पर्यावरण (Environment) उस प्राकृतिक और मानव-निर्मित परिवेश को कहते हैं, जो मनुष्य और अन्य जीवों के जीवन के लिए आवश्यक सभी घटकों से मिलकर बना होता है। इसमें सभी जैविक और अजैविक घटक शामिल होते हैं जो जीवों के जीवन को प्रभावित करते हैं।

पर्यावरण में दो मुख्य घटक होते हैं:

  1. जैविक घटक (Biotic Components): यह वे घटक हैं जो जीवित होते हैं और पर्यावरण में किसी न किसी रूप में अपना योगदान देते हैं। इन घटकों में पौधे, जानवर, मनुष्य, बैक्टीरिया, फंगस आदि शामिल हैं। ये घटक एक-दूसरे के साथ मिलकर पारिस्थितिकी तंत्र (Ecosystem) का निर्माण करते हैं और जीवन चक्र में सक्रिय भूमिका निभाते हैं। उदाहरण के लिए:
    • पौधे: जो ऑक्सीजन प्रदान करते हैं और भोजन के स्रोत होते हैं।
    • जानवर: जो भोजन श्रृंखला में शामिल होते हैं और वातावरण को संतुलित रखने में मदद करते हैं।
    • मनुष्य: जो पर्यावरण के संसाधनों का उपयोग करता है और पर्यावरण संरक्षण या दुरुपयोग कर सकता है।
  2. अजैविक घटक (Abiotic Components): ये वे घटक होते हैं जो निर्जीव होते हैं, लेकिन जीवन के लिए महत्वपूर्ण होते हैं। इनमें वायु, पानी, मिट्टी, सूरज की रोशनी, तापमान, खनिज, और अन्य प्राकृतिक संसाधन शामिल हैं। उदाहरण के लिए:
    • वायु (Air): यह सभी जीवों के लिए जीवनदायिनी तत्व है, क्योंकि यह श्वसन क्रिया में सहायक होता है।
    • पानी (Water): यह जीवन के लिए आवश्यक है, क्योंकि सभी जीवों के शरीर में पानी होता है और यह उनके अस्तित्व के लिए आवश्यक है।
    • मिट्टी (Soil): यह पौधों की वृद्धि के लिए आवश्यक है और जीवों के लिए खाद्य स्रोत प्रदान करता है।

पर्यावरण के उदाहरण:

  1. वन पर्यावरण:
    • वन्य जीवन, जैसे पेड़, पौधे, जानवर, पक्षी, आदि, एक दूसरे के साथ मिलकर एक पारिस्थितिकी तंत्र का निर्माण करते हैं। उदाहरण के लिए, एक जंगल में पेड़ कार्बन डाइऑक्साइड अवशोषित करते हैं और ऑक्सीजन छोड़ते हैं, जो जानवरों के लिए आवश्यक होता है। जानवर पेड़-पौधों को खाते हैं और उनके मल से मिट्टी में पोषक तत्व लौटते हैं, जो फिर से पौधों को बढ़ने में मदद करते हैं।
  2. समुद्र पर्यावरण:
    • समुद्रों और महासागरों में पानी, समुद्री जीवन जैसे मछलियाँ, शैवाल, प्रवाल, और जलवायु के कारक जैसे तापमान, लवणता, और धारा जैसी अजैविक और जैविक घटक एक साथ काम करते हैं। समुद्र पर्यावरण में मछलियाँ पानी में ऑक्सीजन का स्तर बनाए रखने में मदद करती हैं, जबकि शैवाल कार्बन डाइऑक्साइड का अवशोषण करते हैं।
  3. शहरी पर्यावरण:
    • शहरों में मनुष्य द्वारा निर्मित वातावरण होता है, जिसमें इमारतें, सड़कों, और उद्योग शामिल होते हैं। यहाँ प्रदूषण, जैसे वायु प्रदूषण, जल प्रदूषण और ध्वनि प्रदूषण, पर्यावरण को प्रभावित करते हैं। शहर में अपशिष्ट प्रबंधन, जल आपूर्ति, और हरित क्षेत्र जैसे कारक भी पर्यावरण का हिस्सा होते हैं।

पर्यावरण का महत्व:

  1. जीवों का संरक्षण: पर्यावरण का संतुलित होना सभी जीवों के अस्तित्व के लिए आवश्यक है। एक स्थिर पर्यावरण में जैव विविधता बनी रहती है और विभिन्न जीवों के लिए उपयुक्त परिस्थितियाँ मिलती हैं।
  2. मानव जीवन: मनुष्य के जीवन के लिए स्वच्छ वायु, पानी, और भोजन का होना जरूरी है, जो पर्यावरण से मिलता है।
  3. प्राकृतिक संसाधनों का उपयोग: हमारे पास जो भी प्राकृतिक संसाधन हैं—जैसे पानी, खनिज, ऊर्जा—वो सभी पर्यावरण से प्राप्त होते हैं।

पर्यावरण संरक्षण:

आजकल, मानव गतिविधियों के कारण पर्यावरण में कई प्रकार की समस्याएँ उत्पन्न हो रही हैं, जैसे जलवायु परिवर्तन, प्रदूषण, और जैव विविधता की कमी। इन समस्याओं से बचने के लिए पर्यावरण का संरक्षण अत्यंत महत्वपूर्ण है। हमें प्रदूषण को कम करने, हरित आवरण बढ़ाने, जल और ऊर्जा का विवेकपूर्ण उपयोग करने, और प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण करने के लिए कदम उठाने चाहिए।

निष्कर्ष: पर्यावरण हमारे चारों ओर की दुनिया है, जो हमें जीवन जीने के लिए सभी आवश्यक तत्व प्रदान करती है। इसका संतुलन बनाए रखना सभी जीवों के अस्तित्व के लिए जरूरी है।

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